भारतीय दण्ड संहिता (IPC), 1860 की धारा 312 भी एक महत्वपूर्ण धारा है, जो गर्भपात से संबंधित है। इस धारा का उल्लेख गर्भावस्था के दौरान महिला की सुरक्षा और उनके अधिकारों को सुनिश्चित करने के उद्देश्य से किया गया है। गर्भपात एक गंभीर अपराध है और इस धारा में इस प्रकार के अपराध के लिए कड़ी सजाओं का प्रावधान किया गया है।
भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 312 के अंतर्गत, यदि कोई व्यक्ति किसी महिला के गर्भपात करने से संबंधित कार्य करता है, तो ऐसा कार्य करने वाला व्यक्ति भी भारतीय कानून के अंतर्गत अपराधी माना जाएगा और यदि वह महिला स्पन्दनगर्भा हो तो इसे और गंभीरता से लिया जाएगा।
यहां स्पन्दनगर्भा से आशय किसी महिला का गर्भावस्था के 4-5 महीने बीत जाने के बाद गर्भपात किया जाता है, तो उसे स्पन्दनगर्भा कहा जाता है।
भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 312 के अंतर्गत, किसी महिला का गर्भपात करने के अपराध के लिए 3 साल का कारावास या आर्थिक दण्ड के रूप में जुर्माना अथवा दोनों जबकि महिला के स्पन्दनगर्भा होने पर 7 साल के कारावास के साथ आर्थिक दण्ड के रूप में जुर्माने की सजा का भी प्रावधान है।
अपराध |
गर्भपात कारित करने पर |
यदि वह महिला स्पन्दनगर्भा हो |
दण्ड |
3 साल का कारावास या आर्थिक दण्ड के रूप में जुर्माना अथवा दोनों |
7 साल के कारावास के साथ आर्थिक दण्ड के रूप में जुर्माना अपराध श्रेणी |
अपराध श्रेणी |
असंज्ञेय/गैर-संज्ञेय |
असंज्ञेय/गैर-संज्ञेय |
जमानत |
जमानतीय |
जमानतीय |
विचारणीय |
प्रथम श्रेणी के मजिस्ट्रेट के द्वारा विचारणीय |
प्रथम श्रेणी के मजिस्ट्रेट के द्वारा विचारणीय |
भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 312 के अंतर्गत किया गया अपराध असंज्ञेय अर्थात गैर-संज्ञेय अपराध की सूची में शामिल किए जाते हैं। इस प्रकार के मामलों में पुलिस अदालत की अनुमति के बिना जाँच नहीं कर सकती और अपराधी को पकड़ने के लिए भी वारंट होना आवश्यक है। धारा 312 के अंतर्गत दर्ज किए गए मामलों का ट्रायल सत्र प्रथम श्रेणी के मजिस्ट्रेट के समक्ष पेश किए जा सकता है। इस तरह के मामलों में न्यायालय की अनुमति से और पीड़ित महिला (जिसका गर्भपात हुआ हो) की सहमति से समझौता किया जा सकता है।
भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 312 के अंतर्गत किए गए सभी अपराध जमानतीय (Bailable) अपराध की श्रेणी में शामिल किए जाते हैं, यानि अगर कोई व्यक्ति धारा 312 के किसी मामले में गिरफ्तार किया जाता है, तो वह तुरंत जमानत पर बाहर आ सकता है।
Offence | Punishment | Cognizance | Bail | Triable By |
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Offence | |
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Punishment | |
Cognizance | |
Bail | |
Triable By | |